बच्चों का बहुत रोना :-सभी शिशु रोते हैं ,यह बिलकुल सामान्य बात है।अधिकांश शिशु प्रत्येक दिन कुल एक घंटे से लेकर तीन घंटे तक के समय के लिए रोते हैं ;किन्तु जब शिशु ज्यादा रोये और चुप नहीं हो तो यह समझना चाहिए कि बच्चों को कुछ परेशानी है,शिशु तो बता नहीं सकता।वैसी स्थिति में जिस अंग को बालक बार -बार स्पर्श करे अथवा जिस स्थान को दबाने से बच्चा ज्यादा रोये ,वही स्थान पीड़ा का हो सकता है ,यह समझना चाहिए और उसका समुचित उपचार करना चाहिए।
उपचार :-पीपर और त्रिफला का चूर्ण घी तथा शहद (असमान भाग ) के साथ चटाने से बच्चों का रोना और चौंकना आराम हो जाता है ।
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