brain hemorrhage
ब्रेन हेमरेज :- ब्रेन हेमरेज एक प्रकार का मानसिक दौरा है,जो दिमाग में धमनी के फटने के कारण होता है।फलस्वरूप आसपास के ऊतकों में रक्तस्राव हो जाता है और मस्तिष्क की कोशिकाओं का नाश कर देता है।मस्तिष्क से खून के बहने के कारण लोगों को बोलने में कमजोरी अनुभव करने लगता है,चलते -चलते गिर जाता है और जानलेवा साबित होता है।ब्रेन हेमरेज कई प्रकार के होते हैं-(1)इंट्रासेरेब्रल हेमरेज - दिमाग के अंदर रक्तस्राव (2) सबरकनाइड हेमरेज -दिमाग और उसे सुरक्षित करने वाली झिल्ली के बीच रक्तस्राव (3) सबड्यूरल हेमरेज - ड्यूरा की निचली सतह और दिमाग के ऊपरी हिस्से के बीच रक्तस्राव (4) एपीड्यूरल हेमरेज - खोपड़ी और दिमाग के बीच रक्तस्राव।
लक्षण :- अचानक तेज सिरदर्द,दौरे पड़ना,उल्टी,चक्कर आना,चलते -चलते गिर जाना,बेहोश हो जाना,शरीर का सुन्न पड़ जाना,बोल न पाना,लिखने -पढ़ने में परेशानी,शरीर के अंगों में समन्वय न रहना,स्वाद का ढंग से पता न चलना,कोमा में जाना आदि ब्रेन हेमरेज के प्रमुख लक्षण हैं।
कारण :- सर में तेज चोट लग्न,उच्च रक्तचाप,आर्टरीज का हिस्सा कमजोर पड़ना,दिमाग की रक्तवाहिकाएं कमजोर होना,रक्तवाहिकाओं में प्रोटीन का जमा होना,हीमोफीलिया के कारण,दिमाग में ट्यूमर,धूम्रपान,अल्कोहल का ज्यादा सेवन,गुटका एवं तम्बाकू खाना आदि ब्रेन हेमरेज के मुख्य कारण हैं।
प्रभाव- ब्रेन हेमरेज की जटिलताएँ की वजह से तंत्रिका कोशिकाएँ शरीर के बाँकी अंगों से समन्वय नहीं कर पाती हैं;जिसका प्रभाव निम्न हैं - याददाश्त खोना,बोलने की क्षमता कम होना,शारीरिक अंगों के हिलने -डुलने में प्रभाव पड़ना,लकवा मार जाना :,खाना निगलने में परेशानी,आँखों की रौशनी काम होना आदि।
उपचार :- (1) गिलोय रस का प्रतिदिन चार बार सेवन से ब्रेन हेमरेज ठीक हो जाता हैं।
(2) हल्दी,दारू हल्दी,अम्बा हल्दी,बच,शंखपुष्पी,ब्राह्मी और जटामांसी सामान भाग लेकर कूट पीसकर चार चम्मच लेकर दो कप
पानी में उबालें और एक कप बच जाने पर छानकर प्रतिदिन सुबह दोपहर शाम पीने से ब्रेन हेमरेज ठीक हो जाता हैं।
(3) अश्वगंधा पाउडर का सेवन प्रतिदिन सुबह -शाम करने से ब्रेन हेमरेज से उत्पन्न समस्या से मुक्ति मिल जाती हैं।
(4) सहजन की जड़ का काढ़ा बनाकर प्रतिदिन सुबह -शाम पीने से ब्रेन हेमरेज ठीक हो जाता हैं।
(5) ब्राह्मी के चूर्ण का सेवन प्रतिदिन सुबह -शाम ताजे जल के साथ करने से ब्रेन हेमरेज होने की समस्या से मुक्ति मिल जाती हैं ।
(6) शंखपुष्पी के चूर्ण का सेवन प्रतिदिन सुबह -शाम ताजे जल के साथ करने से ब्रेन हेमरेज में बहुत आराम मिलता हैं।