वाहिका शोथ रोग : - वाहिका शोथ नाड़ी तंत्र का एक गंभीर रोग है,जिसमें खून की नसों में सूजन हो जाती है और इनकी परतों में बदलाव आ जाता है। वाहिका शोथ धमनियों,नसों एवं कोशिकाओं को प्रभावित कर रक्त संचरण यानि रक्त प्रवाह में बाधा या रुकावट पहुँचाती है। रक्त संचरण में बाधा आने पर धमनी विस्फार एवं अत्यंत खतरनाक रक्त स्राव का कारण बन सकती है जो अत्यंत परेशानी बन सकती है। वास्तव में वाहिका शोथ शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली में गड़बड़ी उत्पन्न होने की वजह से रक्त वाहिकाओं को यानि खून संचरण होने वाली नसों को क्षतिग्रस्त करने लगती है जो वायरस या एलर्जिक संक्रमण के कारण होता है। कभी - कभी तो वाहिका शोथ यानि नसों में सूजन की वजह से शरीर के मुख्य अंगों जैसे - फेफड़े,मस्तिष्क या किडनी क्षतिग्रस्त या सुचारु रुप से अपना कार्य करने में समर्थ नहीं होती हैं जो जानलेवा साबित होती है। कहने का तात्पर्य कि वाहिका शोथ को कभी भी हलके में नहीं लेना चाहिए और समय रहते चिकित्सक से संपर्क करना चाहिए ताकि किसी भी प्रकार की गंभीर परेशानी से बचा जा सके। 

लक्षण : - बुखार,थकान,वजन घटना,मांसपेशियों एवं जोड़ों में दर्द,सरदर्द,रात में पसीना आना,लाल चकत्ते,सुन्न होना,दुर्बलता,अंग में नाड़ी का नुक़सान,मुँह के छाले,जननांग अल्सर,आँखों में सूजन,त्वचा पर मुंहासे की तरह घाव,झुनझुनी,दमा,नसों में कठोरताआदि वाहिका शोथ रोग के प्रमुख लक्षण हैं। 

कारण : - हेपेटाइटिस " बी " एवं " सी " का संक्रमण,रक्त कैंसर,संधि शोथ,आनुवंशिक कारण,बढ़ती उम्र,मधुमेह, वायरस का संक्रमण,एलर्जिक संक्रमण आदि वाहिका शोथ रोग के मुख्य कारण हैं। 

उपचार : - (1) हल्दी,दारु हल्दी,अम्बा हल्दी सामान भाग लेकर कूट पीस कपड़छान कर चूर्ण बनाकर एक चम्मच प्रतिदिन गुनगुने दूध में मिलाकर सेवन करने से वाहिका शोथ रोग दूर हो जाता है। 

(2) अदरक स्वरस,लहसुन स्वरस एवं शहद मिलकर प्रतिदिन सेवन करने से वाहिका शोथ दूर हो जाता है। 

(3) अश्वगंधा पाउडर का गुनगुने दूध के साथ प्रतिदिन सेवन करने से वाहिका शोथ दूर हो जाता है। 

(4) बेकिंग सोडा एक चुटकी की मात्रा एक गिलास जल में डालकर पीने से धीरे - धीरे वाहिका शोथ समाप्त हो जाता है।   

(5) सोयाबीन दूध के साथ शहद मिलाकर प्रतिदिन पीने से वाहिका शोथ समाप्त हो जाता है। 

(6) चुकुन्दर,पालक एवं गाजर छोटे - छोटे टुकड़े करके दो गिलास जल में उबालें और जब एक चौथाई शेष रहे तो छानकर उसमें थोड़ा सा शहद मिलाकर सेवन करने से वाहिका शोथ में बहुत लाभप्रद है। 

(7) जौ का काढ़ा प्रतिदिन कुछ दिनों तक पीने से वाहिका शोथ में अत्यंत आश्चर्यजनक लाभ होता है। 

(8) अनानास के जूस के सेवन से भी वाहिका शोथ दूर हो जाता है |

योग एवं प्राणायाम : - अनुलोम - विलोम,कपालभाति,भ्रामरी,भस्त्रिका,उज्जयी |


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